हादसे में घायल गौधन की पांचवे दिन तडप तडप कर मौत

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पशु अस्पताल में पिछले 8 महीने से नहीं आयी कोई सप्लाई

कुराली/जगदीश सिंह: हिन्दू धर्म में गौमाता को माँ का दर्जा दिया गया है फिर भी शहर में काफी गिनती में घूम रहे गौधन आज कूडा करकट खाने को मजबूर है बीते 5 दिन पहले कुराली शहर में एक वाहन से टकरा गौधन को काफी गंभीर चोटे आई थी जानकारी मुताबिक उस हादसे में गौधन की रीढ की हड्डी टूट गयी थी हादसे के बाद 1 दिन गौधन वही सडक पर तेज धुप में तडपता रहा किसी ने भी उसकी सार नहीं ली। कुछ राहगीरों ने हिम्मत दिखाते हुए उस गौधन को जेसीबी मशीन की सहायता से उठा कर निहोलका रोड पर स्थित पशु अस्पताल में छुडवा दिया डॉक्टर उसका इलाज करती रही पर उन्होंने बताया कि हमारे पास कीडे मारने तक की दवाई की सप्लाई पिछले 8 महीने से नहीं आयी ।फिर भी आस पास के गाँवो के लोग गौधन को तडपते देख आते जाते उसको पानी पिलाते रहे और आज अस्पताल में तडपते तडपते पांचवे दिन गौधन की मौत हो गयी। खबर लिखे जाने तक गौधन का शव अस्पताल में ही पडा था । वही आज दूसरे हादसे में आज फिर से चंडीगढ रोड पर एक गौधन को किसी वाहन ने टककर मार दी पशु फिर से वही कडकती धुप में पडा रहा जिसे देख कुछ नौजवान आये और ताप्ती गर्मी में छाता पकड कई घंटे सडक पर जान जोखिम में डाल खडे रहे । बाद में नौजवान गौधन को इलाज के लिए गांव चुन्नी ले गये उल्लेखनीय है कि कुराली शहर राजनीति का गढ माना जाता है यहाँ हर दूसरे घर में एक नेता व् एक समाजसेवी रहता है पर सडक पर तडप रहे गौधनों को देख राजनीतिक दल या गौसेवा नाम से बनाये गए दलों के सदस्य इनका इलाज करवाने में असहाय दिखाई देते नजर आये गौधन की मौत हो जाने के बाद कोई भी उसके शव को कई घंटे उठाने नहीं पंहुचा तो नगर कौंसिल कुराली के एक कर्मचारी को फोन किया गया तो उसने कहा कि हमारा अभी टेंडर नहीं हुई हम शव नहीं उठा सकते। जब शहर के बाहर के हड्डा रोडी उठाने वाले वयक्ति को फोन किया तो उसने कहा कि शव उठाना है तो खर्चा पानी लगेगा उल्लेखनीय है कि इस पुरे मामले बाबत कौंसिल को ठोस कदम उठाते हुए अपनी जुमेवारिया निभानी चाहिए पर अभी कौंसिल इस मामले में फेल साबित हो रहा है।

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